अजमेर दरगाह में पीएम मोदी की चादर पेश
अजमेर (अजमेर मुस्कान)। ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह में चल रहे 814वें सालाना उर्स के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से चादर पेश की गई। केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री किरेन रिजिजू प्रधानमंत्री की ओर से भेजी गई चादर लेकर अजमेर पहुंचे और परंपरागत तरीके से दरगाह शरीफ में अकीदत के साथ चादर चढ़ाई। इस दौरान दरगाह परिसर में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए और बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात रहा।
चादर पेश करने के बाद केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू बुलंद दरवाजे पर पहुंचे, जहां उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संदेश पढ़कर सुनाया। प्रधानमंत्री के संदेश में देश में अमन, चैन, भाईचारे और सौहार्द की कामना की गई। इस मौके पर दरगाह परिसर सूफियाना रंग में रंगा नजर आया और उर्स के अवसर पर जायरीन बड़ी संख्या में मौजूद रहे।
इससे पहले केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने अजमेर के सर्किट हाउस में मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री की ओर से भेजी गई चादर सिर्फ एक परंपरा नहीं, बल्कि सरकार और देशवासियों की सामूहिक भावना का प्रतीक है। उन्होंने कहा, “यह चादर प्रधानमंत्री, सरकार और हम सभी की तरफ से है।” प्रधानमंत्री के संदेश को लेकर उन्होंने कहा कि वे स्वयं यहां आए हैं और जो वे बोल रहे हैं, वही प्रधानमंत्री का संदेश है।
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि ख्वाजा साहब की दरगाह न केवल भारत बल्कि पूरी दुनिया में अमन, शांति, सेवा और आपसी सम्मान की प्रतीक है। अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय की ओर से दरगाह के विकास और उत्थान के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। राज्य सरकार और स्थानीय जिला प्रशासन के साथ समन्वय कर दरगाह के प्रबंधन और सुविधाओं को बेहतर बनाने की दिशा में भी पहल की जाएगी।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार के 11 वर्ष पूरे हो चुके हैं और सरकार “सबका साथ, सबका विकास” के मंत्र पर आगे बढ़ रही है। इसके साथ ही “सबका विश्वास और सबका प्रयास” का मंत्र भी प्रधानमंत्री ने देश को दिया है। किरेन रिजिजू ने कहा कि राजनीति में चाहे जो बयानबाजी हो, लेकिन हकीकत यह है कि भारत के लोग दिल से अच्छे हैं और देश की साझा संस्कृति को आगे बढ़ाना चाहते हैं।
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू, सांसद भागीरथ चौधरी, मंत्री सुरेश रावत सहित अन्य जनप्रतिनिधि महफिलखाने पहुंचे। वहां उन्होंने चादर पेश कर देश में अमन, चैन, शांति और भाईचारे की दुआ मांगी। दरगाह दीवान के पुत्र नसरुद्दीन चिश्ती की ओर से सभी अतिथियों का स्वागत किया गया और उर्स की मुबारकबाद दी गई।

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